स्वच्छता ही सफलता की पहली कुंजी – प्रो. श्रीप्रकाश मणि त्रिपाठी
स्वच्छता ही सफलता की पहली कुंजी – प्रो. श्रीप्रकाश मणि त्रिपाठी
अनूपपुर- रमेश तिवारी
हमें प्रसन्नता है कि हम सभी स्वच्छता पखवाड़ा मना रहे हैं l स्वच्छता की आवश्यकता को तीन उद्धरणों से समझा जा सकता है l पडोसी देश में स्थित कैलास मानसरोवर भारत के आध्यात्मिक साधना और शुद्धता का केंद्र माना जाता है l मानसरोवर का जल पूर्णतः स्वच्छ, निर्मल, पवित्र और शुद्ध है जो लोग वहां जाते हैं वह अपना अनुभव हमें बताते हैं कि किसी ने भूलवश मानसरोवर के जल में तिनका भी डाल दिया और यदि उसे किसी ने उठाया नहीं तो उधर से गुजरती कोई चिड़िया आती है और उस तिनके को उठा करके बाहर फेंक देती है, अगर पक्षियों में जल को शुद्ध रखने की इतनी बड़ी प्रवृत्ति है तो हम लोगों में भी ऐसी सकारात्मक प्रवृत्ति का समावेश होना चाहिए l दूसरा उद्धरण हम जिस क्षेत्र में रहते हैं उसे रेवाखंड कहते हैं और इस क्षेत्र में स्वच्छता तथा शुद्धता का सबसे बड़ा सन्देश हमें अपने जनजातीय समुदाय से मिलता है l
इस क्षेत्र का कोई भी ऐसा व्यक्ति नहीं है जो मां नर्मदा के जल को दूषित करता हो क्योंकि उनकी संस्कृति में स्वच्छता रची-बसी है l तीसरा उदाहरण हमारे राष्ट्रनायक माननीय प्रधानमंत्री जी जब पुस्तक विमोचन करते हैं तो पुस्तक के ऊपर के कागज को फेंकते नहीं अपितु उसे अपने पाकेट में रख लेते है, तथा उचित स्थान (कूड़ादान) पर ले जाकर रख देते है l इन समस्त उद्धरणों का आशय मात्र यह है कि यदि हम सड़क पर या कार्य स्थल पर कहीं जाएं तो पड़े कूड़े कचरे को सही जगह पर निस्तारण करें l वस्तुतः हम नित्य स्नान करते हैं, अपने आप को शुद्ध करने के लिए यह शुद्धता तभी प्रभावी है जब हमारा पर्यावरण तथा परिवेश स्वच्छ हो अतः हम सभी को यह संकल्प लेना चाहिए कि हमें अपना पर्यावरण तथा परिवेश दोनों स्वच्छ रखना l अभी हम सभी ने स्वच्छता का संकल्प लिया, इस संकल्प पत्र पर लिखा हर वाक्य हम सभी को निरंतर प्रेरणा का मार्ग प्रशस्त करेंगा l उक्त बाते राष्ट्रीय सेवा योजना एवं एन.सी.सी. के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित स्वच्छता पखवाड़े के उद्घाटन सत्र के अंतर्गत इंदिरा गांधी राष्ट्रीय विश्वविद्यालय अमरकंटक, मध्य प्रदेश के माननीय कुलपति प्रो. श्रीप्रकाश मणि त्रिपाठी ने कही l
आगे उन्होंने यह भी कहा कि बहुदा हम मान लेते हैं की स्वच्छता और सेवा किसी स्वच्छता कर्मी का दायित्व है, वस्तुतः ऐसा नहीं है यह हम सभी का सामूहिक दायित्व बोध है, स्वच्छता वास्तव में परिवेश. पर्यावरण तथा विचार तीनों में होना चाहिए l क्योंकि किसी भी प्रकार का प्रदूषण व्यक्ति के लिए संकट उत्पन्न कर सकता है इसलिए आवश्यक है कि अपने से जो छोटे हैं उनके प्रति अनुराग भाव रखें तथा जो उम्र में बड़े हैं उनके प्रति सम्मान भाव रखें हमारे किसी वार्तालाप या व्यवहार से कोई आहत न हो l स्वच्छ भारत ही स्वस्थ भारत का संदेश होता है यदि हम स्वच्छ रहेंगे तभी हम स्वस्थ बनेंगे, स्वस्थ रहेंगे तभी हम समर्थ बनेंगे, और समर्थ बनेंगे तभी समृद्ध बनेंगे, समृद्ध होंगे तभी हम सफल होंगे l सफलता की पहली कुंजी है स्वच्छता इसलिए हम सभी को ऐसा कार्य करना चाहिए जिससे सभी प्राणी अनुप्राणित हो l हम अपने चिंतन को बेहतर बनाएं जिससे स्वच्छता की जरूरत पूरी हो और निरंतर बढ़ चढ़कर स्वच्छता के प्रति हिस्सा लें और राष्ट्र निर्माण में अपनी सशक्त भूमिका प्रस्तुत करें l
अगले क्रम में अधिष्ठाता अकादमिक प्रो. आलोक श्रोत्रीय तथा अधिष्ठाता भू विज्ञान प्रो. ए. के. शुक्ला ने अपने विचार व्यक्त किए l माननीय कुलपति जी सहित अतिथियों को पुष्पगुच्छ देकर राष्ट्रीय सेवा योजना के संयोजक डॉ. मनोज कुमार पाण्डेय तथा एन.सी.सी. के एन.ओ. डॉ. जितेंद्र कुमार सिंह ने स्वागत किया l इस अवसर पर कुलपति जी द्वारा सभी विद्यार्थियों सहित शिक्षकों व कर्मचारियों को शपथ ग्रहण करवाया l अगले क्रम में जन जागरूकता स्वच्छता रैली की विभिन्न टोलियों को माननीय कुलपति जी ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया l अगली कड़ी में हस्ताक्षर कैंपेन तथा पेंटिंग प्रतियोगिता भी आयोजित की गई l
कार्यक्रम का संचालन उप-कुलसचिव डॉ. संजीव सिंह ने तथा कार्यक्रम में उपस्थित सभी अतिथियों के प्रति आभार ज्ञापन विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ. एच.एन. मूर्ति ने प्रेषित किया l
इस अवसर पर विश्वविद्यालय के वरिष्ठ आचार्य प्रो. नवीन शर्मा, प्रो. राघवेंद्र मिश्रा, विशेष कर्तव्यस्थ अधिकारी डॉ. विजय नाथ मिश्रा, डॉ. पूजा तिवारी, डॉ. पूनम पांडे, डॉ. संजय यादव, डॉ. अंचल, डॉ. मालती लोधी, डॉ. हिमांशी, डॉ. त्रयंबक नाथ पाण्डेय, डॉ. सचिन द्विवेदी, डॉ. प्रज्ञेश मिश्रा, डॉ. दिलीप चौधरी, डॉ. हरेराम पाण्डेय, डॉ. प्रवीण, डॉ. दिग्विजय नाथ चौबे, डॉ. पंकज तिवारी, डॉ. कुंजबिहारी मिश्रा, डॉ. विनय यादव, डॉ. अभय प्रताप सिंह स्वयंसेवक विवेक मिश्र, भरत कुमार, रंजीत मेहरा, स्वयंसेविका नम्रता साहू , दीपिका गौतम, भूमि सिंह, शिवानी, चांदनी इत्यादि उपस्थित रहे ।